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5 ऐसी आयुर्वेदिक जड़ी-बूटियां, जो दूर करेंगी सेहत की हर समस्या

Submitted by Amit Sharma on Thu, 07/06/2023 - 12:26

A. Apple Cider Vinegar

सेब का सिरका (Apple Cider Vinegar) एक प्रकार का सिरका है जिसे सेब के रस से बनाया जाता है। इसमें सेब के रस को जैकर या कार्बोहाइड्रेट से बनाने वाले कोशिकाओं को शराबित किया जाता है। यह एसिटिक एसिड, मालिक एसिड, विटामिन C, एंजाइम्स, एंटीऑक्सिडेंट्स और अन्य पोषक तत्वों से भरपूर होता है।

आयुर्वेद में सेब के सिरके को महत्वपूर्ण माना जाता है और इसका उपयोग विभिन्न स्वास्थ्य समस्याओं के उपचार में किया जाता है। यह कई तरह के आयुर्वेदिक उपचारों में उपयोगी है और इसकी कुछ महत्वपूर्ण गुणधर्मों को निम्नलिखित रूप से वर्णित किया जा सकता है:
 

वजन घटाने में सहायता:

सेब का सिरका आपको वजन कम करने में मदद कर सकता है। इसका नियमित सेवन मेटाबोलिज्म को बढ़ाकर शरीर की चर्बी को कम करने में मदद करता है।
 

पाचन को सुधारना:

सेब का सिरका पाचन प्रक्रिया को सुधारने में मदद करता है। यह पाचक अग्नि को बढ़ाकर खाद्य पदार्थों को पचाने में सहायता प्रदान करता है।
 

रक्त शर्करा को नियंत्रित करना:

सेब का सिरका रक्त शर्करा के स्तर को नियंत्रित करने में मदद करता है। यह इंसुलिन के प्रभाव को सुधारकर रक्त शर्करा के स्तर को कम करने में मदद करता है।
 

बालों के स्वास्थ्य के लिए:

सेब का सिरका बालों के लिए फायदेमंद हो सकता है। इसका इस्तेमाल बालों की चमक बढ़ाने, रूसी कम करने और बालों को मजबूत बनाने के लिए किया जा सकता है।
 

डायबिटीज के नियंत्रण में मदद:

सेब का सिरका डायबिटीज के नियंत्रण में मदद कर सकता है। यह रक्त शर्करा को कम करने और इंसुलिन संतुलन को सुधारने में सहायता प्रदान करता है।
 

हार्ट हेल्थ के लिए:

सेब का सिरका हार्ट हेल्थ को बढ़ाने में मदद कर सकता है। इसका नियमित सेवन हार्ट के लिए उपयोगी हो सकता है, क्योंकि यह कोलेस्ट्रॉल को कम करने, रक्तचाप को नियंत्रित करने और हृदय संबंधी समस्याओं को कम करने में मदद करता है।
 

पाचन तंत्र को संतुलित करना:

सेब का सिरका पाचन तंत्र को संतुलित करने में मदद कर सकता है। यह अपच, अम्लपित्त, गैस, और अन्य पाचन संबंधी समस्याओं को कम करने में सहायता प्रदान कर सकता है।
 

त्वचा के लिए फायदेमंद:

सेब का सिरका त्वचा के लिए अनेक फायदों से भरपूर हो सकता है। इसका इस्तेमाल त्वचा के रंग को सुंदर और स्वस्थ बनाने, त्वचा के मुहासों को कम करने, त्वचा को ताजगी और उज्ज्वलता प्रदान करने, और त्वचा के इन्फेक्शन से बचाने के लिए किया जा सकता है।
 

इम्यून सिस्टम को मजबूत करना:

सेब का सिरका आपके इम्यून सिस्टम को मजबूत करने में मदद कर सकता है। इसमें मौजूद एंटीऑक्सिडेंट्स और पोषक तत्व आपके शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली को सुधारकर संक्रमण से लड़ने में मदद करते हैं।
 

संक्रमण से लड़ने में सहायता:

सेब का सिरका एंटीबैक्टीरियल गुणों से भरपूर होता है और संक्रमण से लड़ने में मदद कर सकता है। इसका नियमित सेवन आपको आमतौर पर होने वाले संक्रमणों से बचाने में मदद कर सकता है।

 

 

B. Aloe vera

एलोवेरा (Aloe vera) एक औषधीय पौधा है जो प्राकृतिक रूप से उगाया जाता है और आयुर्वेदिक चिकित्सा में महत्वपूर्ण स्थान रखता है। यह घास के समान दिखने वाला सुकुमारी पौधा होता है जिसके तने और पत्तियाँ घनी होती हैं। इसके दाने मधुर रस से भरे होते हैं। एलोवेरा प्राकृतिक रूप से मेंदों में पाया जाता है और इसके रस का औषधीय उपयोग किया जाता है।

आयुर्वेद में एलोवेरा को "कुमारी" कहा जाता है और इसे ब्रह्मसूत्र (Brahmasutra) की एक औषधि माना जाता है।
 

त्वचा के लिए फायदेमंद:

एलोवेरा पुल्प त्वचा के लिए बहुत उपयोगी है। इसका नियमित उपयोग त्वचा को मुलायम, चमकदार, और स्वस्थ बनाने में मदद करता है। यह त्वचा के अनेक समस्याओं जैसे की एक्ने, डर्क स्पॉट्स, झाइयां, त्वचा की सूखापन, और त्वचा की छालना को कम करने में मदद कर सकता है।
 

ज्वर को कम करना:

एलोवेरा पुल्प में मौजूद गुणों के कारण, इसका सेवन शरीर के ज्वर को कम करने में मदद कर सकता है। इसके प्राकृतिक एंटीबैक्टीरियल और एंटीवायरल गुण शरीर के संक्रमण से लड़ने में मदद करते हैं।
 

पाचन को सुधारना:

एलोवेरा पुल्प पाचन को सुधारने में मदद कर सकता है। यह पाचन तंत्र को स्वस्थ और सक्रिय बनाकर खाद्य पदार्थों को पचाने में मदद करता है। इसके नियमित सेवन से आप पेट संबंधी समस्याओं जैसे की गैस, कब्ज, और पेट में जलन को कम कर सकते हैं।
 

बालों के लिए उपयोगी:

एलोवेरा पुल्प बालों के लिए भी बहुत फायदेमंद है। इसका मास्क लगाने से बालों को मजबूती, चमक, और मोटापा मिलता है। इससे बालों के झड़ने को कम करने, रूखेपन को दूर करने, और बालों की मालिश करने में मदद मिलती है।
 

रक्तचाप को नियंत्रित करना:

एलोवेरा पुल्प का सेवन रक्तचाप को नियंत्रित करने में सहायता प्रदान कर सकता है। इसमें मौजूद पोषक तत्व रक्तचाप को संतुलित करने में मदद करते हैं।
 

त्वचा संक्रमण से बचाना:

एलोवेरा पुल्प के एंटीबैक्टीरियल और एंटीफंगल गुण त्वचा को संक्रमण से बचाने में मदद कर सकते हैं। इसे त्वचा के प्रकार और संक्रमण के आधार पर स्थानीय रूप से इस्तेमाल किया जा सकता है।
 

विषाक्तता को कम करना:

एलोवेरा पुल्प विषाक्तता को कम करने में मदद कर सकता है। इसके शुद्ध कर्मचारी और शरीर को साफ करने वाले गुण विषाक्तता को नष्ट करने और शरीर को पुनर्स्थापित करने में मदद करते हैं।
 

श्वसन संबंधी समस्याओं को कम करना:

एलोवेरा पुल्प श्वसन संबंधी समस्याओं जैसे की दमा और छींकों को कम करने में मदद कर सकता है। इसके प्राकृतिक श्वसन विस्तारक और न्यूरोकालमाइक गुणों से श्वसन संबंधी समस्याओं को नियंत्रित किया जा सकता है।
 

पाचन प्रक्रिया को सुधारना:

एलोवेरा पुल्प पाचन प्रक्रिया को सुधारने में मदद कर सकता है। यह अच्छे आहार पचाने में मदद करता है और जीर्णाशय को सक्रिय रखता है।
 

मसूड़ों के लिए उपयोगी:

एलोवेरा पुल्प मसूड़ों के लिए भी बहुत उपयोगी है। इसे मसूड़ों के रोगों, मसूड़ों के सूजन, और मसूड़ों के संक्रमण को कम करने में मदद मिलती है। इसे मसूड़ों पर स्थानीय रूप से लगाया जा सकता है या मुंह में ताजगी के रूप में भी इस्तेमाल किया जा सकता है।

 

C. Giloy

गिलोय (Giloy), जिसे बोटानिकल नाम तिनोसपोरा कोर्डिफोलिया (Tinospora cordifolia) से जाना जाता है, एक प्रमुख आयुर्वेदिक जड़ी-बूटी है जिसे भारतीय प्रणाली में महत्वपूर्ण माना जाता है। इसकी जड़ें और स्टेम्स का उपयोग उच्चतम गुणवत्ता वाले औषधि के रूप में किया जाता है।

आयुर्वेद में गिलोय को "अमृता" या "चक्रपाणी" के नाम से जाना जाता है, जिसका अर्थ होता है "अमृत की तरह अमर" यानी अमरत्व के समान। इसे एक रसायनिक जड़ी-बूटी माना जाता है जो शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य को सुधारने में मदद करती है। गिलोय में प्राकृतिक रूप से मौजूद गुणों के कारण इसे विभिन्न रोगों के उपचार में उपयोगी माना जाता है।
 

इम्यून सिस्टम को मजबूत करना:

गिलोय में प्राकृतिक रूप से मौजूद गुण शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली को मजबूत करने में मदद करते हैं। इसका नियमित सेवन इम्यून सिस्टम को सक्रिय रखता है और रोगों से लड़ने में मदद करता है।
 

श्वासनली संबंधी समस्याओं को कम करना:

गिलोय को श्वासनली संबंधी समस्याओं जैसे की दमा, ब्रोंकाइटिस, और श्वसन की समस्याओं के उपचार के लिए उपयोगी माना जाता है। यह श्वासनली के नरमीकरण, संक्रमण के विरोधी गुण, और श्वासन को मजबूत करने में मदद करता है।
 

प्रतिरक्षा प्रणाली को सक्रिय करना:

गिलोय में मौजूद रसायनिक तत्व प्रतिरक्षा प्रणाली को सक्रिय करने में मदद करते हैं। इससे शरीर की सामरिक और मानसिक रोगों से लड़ने की क्षमता में वृद्धि होती है।
 

त्वचा के लिए उपयोगी:

गिलोय त्वचा के लिए भी बहुत फायदेमंद है। इसका नियमित सेवन त्वचा को स्वच्छ, चमकदार, और स्वस्थ बनाए रखता है। यह त्वचा के संक्रमण, खुजली, एक्ने, और पिम्पल्स को कम करने में मदद करता है।
 

अन्तिमाशाय को स्वस्थ रखना:

गिलोय का सेवन अन्तिमाशाय को स्वस्थ रखने में मदद करता है। यह पाचन तंत्र को सक्रिय रखता है, पेट के रोगों को दूर करता है, और आमाशय के कार्य को सुधारता है।
 

स्नायुजनन समस्याओं का उपचार:

गिलोय को स्नायुजनन समस्याओं के उपचार के लिए आयुर्वेद में उपयोगी माना जाता है। यह मस्तिष्क की क्रिया को सुधारता है, मानसिक तनाव को कम करता है, और नींद की समस्याओं को दूर करता है।
 

शरीर को ऊर्जा प्रदान करना:

गिलोय में प्राकृतिक रूप से उपस्थित तत्व शरीर को ऊर्जा प्रदान करते हैं। इसका नियमित सेवन शरीर को ताजगी और ऊर्जा प्रदान करता है और थकावट को कम करता है।
 

प्राकृतिक एंटीऑक्सिडेंट:

गिलोय एक प्राकृतिक एंटीऑक्सिडेंट है जो शरीर के विषाणुओं से नकारात्मक प्रभावों को कम करता है। इसका नियमित सेवन रोगों की प्रतिरक्षा को बढ़ाता है और वृद्धि करता है।
 

शरीर को संतुलित करना:

गिलोय में प्रचुर मात्रा में पोषक तत्व मौजूद होते हैं जो शरीर को संतुलित और स्वस्थ बनाए रखते हैं। यह पोषक तत्वों की कमी को पूरा करता है और शारीरिक कमजोरी को दूर करता है।
 

मूत्र संबंधी समस्याओं को दूर करना:

गिलोय को मूत्र संबंधी समस्याओं जैसे की मूत्राशय संक्रमण, मूत्रपाथ के संक्रमण, और मूत्र के संक्रमण के उपचार के लिए उपयोगी माना जाता है। इसका नियमित सेवन मूत्र संबंधी समस्याओं को दूर करता है और मूत्र नली को स्वस्थ रखता है।

 

D. Wheatgrass juice

गेहूं का घास का रस (Wheatgrass Juice) प्राकृतिक रूप से उगाए जाने वाले गेहूं की पौधे (Wheatgrass) से बनाया जाता है। यह रस पौष्टिक तत्वों से भरपूर होता है और आपके स्वास्थ्य के लिए कई अद्भुत फायदे प्रदान करता है। यह शक्तिशाली एंटीऑक्सिडेंट है और विटामिन, मिनरल्स, एन्जाइम्स, और आयरन से भरपूर होता है। यहां कुछ गेहूं के घास के जूस के आश्चर्यजनक लाभ हिंदी में हैं:
 

प्राकृतिक पौष्टिकता:

गेहूं का घास रस प्राकृतिक रूप से पौष्टिकता से भरपूर होता है। इसमें विटामिन ए, सी, ई, और के, फोलिक एसिड, बी-कॉम्प्लेक्स विटामिन, आयरन, कैल्शियम, और मैग्नीशियम शामिल होते हैं। इसलिए, इसका सेवन आपके शरीर को पौष्टिक तत्वों से भर देता है और आपकी ऊर्जा को बढ़ाता है।
 

विषाणुरोधक गुण:

गेहूं का घास जूस शक्तिशाली एंटीऑक्सिडेंट है जो आपके शरीर के विषाणुओं के नकारात्मक प्रभावों को कम करता है। यह आपकी प्रतिरक्षा प्रणाली को मजबूत बनाने में मदद करता है और संक्रमण के खिलाफ लड़ने की क्षमता प्रदान करता है।
 

वजन कम करने में सहायता:

गेहूं का घास जूस वजन कम करने में मदद कर सकता है। यह अपच, पाचन और गतिविधि को सुधारता है और आपके शरीर को वजन कम करने के लिए सक्रिय बनाता है।
 

त्वचा के स्वास्थ्य के लिए लाभकारी:

गेहूं का घास जूस त्वचा के लिए बहुत लाभकारी होता है। यह त्वचा को स्वस्थ और चमकदार बनाता है, मुंहासों, दाग-धब्बों और झुर्रियों को कम करता है, और त्वचा के ताजगीकरण को बढ़ाता है।
 

इम्यून सिस्टम को मजबूत करना:

गेहूं का घास जूस आपके इम्यून सिस्टम को मजबूत करता है। यह आपके शरीर को संक्रमणों से लड़ने की क्षमता प्रदान करता है और आपकी सामान्य स्वास्थ्य को सुरक्षित रखता है।

 

E. Turmeric Milk (Haldi wala Dudh)

हल्दी वाले दूध के आश्चर्यजनक लाभों के बारे में आपको बताने जा रहा हूं। हल्दी वाले दूध को "हल्दी का दूध" या "गोल्डन मिल्क" भी कहा जाता है और यह एक प्राकृतिक औषधि है जो भारतीय आयुर्वेद में महत्वपूर्ण मानी जाती है। यह गर्म मिल्क में हल्दी का सेवन करने से अद्भुत स्वास्थ्य लाभ प्रदान करता है। यहां कुछ हल्दी वाले दूध के आश्चर्यजनक लाभ हिंदी में हैं:
 

प्राकृतिक एंटी-इंफ्लेमेटरी औषधि:

हल्दी में मौजूद कुर्कुमिन एक शक्तिशाली एंटी-इंफ्लेमेटरी औषधि होती है, जो शरीर के संक्रमणों, दर्द और सूजन को कम करने में मदद करती है।
 

मजबूत आंतिरिक रोग प्रतिरोधक प्रणाली:

हल्दी वाले दूध में मौजूद एंटीऑक्सिडेंट्स और एंटीमाइक्रोबियल गुण आपकी आंतिरिक रोग प्रतिरोधक प्रणाली को मजबूत करते हैं और संक्रमण से लड़ने में मदद करते हैं।
 

स्वास्थ्यवर्धक और शक्तिशाली एंटीऑक्सिडेंट:

हल्दी में मौजूद एंटीऑक्सिडेंट्स आपके शरीर को रेडिकल विकारकों से बचाते हैं और स्वास्थ्य को बढ़ाते हैं। यह आपकी कोशिकाओं को सुरक्षित रखता है और वृद्धि को संवारता है।
 

सूजन का कम होना:

हल्दी में पाए जाने वाले गुणों के कारण, हल्दी वाले दूध का सेवन करने से सूजन कम होती है और आपके शरीर की ठंडक मिलती है।
 

शांतिप्रद और स्वास्थ्यवर्धक नींद:

हल्दी में मौजूद तत्वों का सेवन करने से आपकी नींद शांतिप्रद होती है और आपके शरीर को स्वस्थ रखने के लिए मदद करती है।

 

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